Wednesday, December 28, 2016

नये वर्ष में नई दिशा

२९ दिसम्बर २०१६ 
कितना अच्छा हो यदि नये वर्ष में हम उन सारी तकलीफों, दुखों, परेशानियों से बचे रहें जो पिछले वर्ष में हमने किसी न किसी अंश में महसूस कीं और उन सारी खुशियों, मुस्कानों और मस्ती से भरा रहे जो पिछले वर्ष या उसके पहले के वर्षों में हमें मिलीं. ऐसा हो सकता है, यदि हम नये वर्ष का स्वागत उसी तरह करें जैसे कोई बच्चा हर नये दिन का करता है, बिना किसी अपेक्षा के और बिना किसी पूर्वाग्रह के..हर दिन एक ताजगी से भरा हो..बिलकुल अछूता और रहस्यमय..जीवन प्रतिपल नया हो रहा है, भगवान बुद्ध कहते हैं, कल बीत गया साथ ही कल जो व्यक्ति था वह भी बदल गया, इस बात को जो अनुभव से जान लेता है उसके जीवन से दुःख. शोक, उसी तरह विदा हो जाते हैं जैसे खरगोश के सिर से सींग. नया वर्ष एक नयी दिशा का प्रतीक बन सकता है और एक नये भविष्य का भी, यदि हम इसकी नूतनता को बना रहने दें.

2 comments:

  1. स्वागत व आभार..नये वर्ष के लिए मंगल कामनाएं..

    ReplyDelete